साहित्यिक मासिक पत्रिका ‘झारखंड ज्ञान ज्योति’ का हुआ विमोचन

Shashi Bhushan Kumar

साहित्य, संस्कृति एवं ज्ञान के संवर्धन को समर्पित मासिक पत्रिका ‘झारखंड ज्ञान ज्योति’ का भव्य विमोचन समारोह प्रेस क्लब सभागार, रांची में गरिमामय वातावरण में संपन्न हुआ। कार्यक्रम की शुरुआत अतिथियों के परिचय एवं स्वागत के साथ हुई, जिसके पश्चात पुष्पांजलि अर्पित की गई।

समारोह का शुभारंभ सुरिंदर कौर नीलम द्वारा प्रस्तुत भावपूर्ण सरस्वती वंदना से हुआ, जिसने पूरे वातावरण को भक्तिमय और प्रेरणादायी बना दिया। इसके बाद पत्रिका का औपचारिक लोकार्पण किया गया।

इस अवसर पर वीणा श्रीवास्तव ने अपने उद्बोधन में पत्रिका के उद्देश्य एवं उसके सामाजिक-सांस्कृतिक महत्व पर प्रकाश डाला। अनिता रश्मि ने ‘झरखंड ज्ञान ज्योति’ को नवोदित लेखकों और रचनात्मक प्रतिभाओं के लिए एक सशक्त मंच बताया, वहीं निरंजन जी ने साहित्य के माध्यम से समाज में जागरूकता लाने की आवश्यकता पर बल दिया।कार्यक्रम को विशेष गरिमा डॉ. के. एन. दास द्वारा प्रस्तुत नागपुरी कविता ‘माय राधे कर महिमा’ ने प्रदान की, जिसे श्रोताओं ने खूब सराहा। इसके पश्चात पत्रिका के संपादक अनिल कुमार ने दो शब्दों में पत्रिका की परिकल्पना, उद्देश्य एवं भविष्य की योजनाओं की जानकारी दी।

मुख्य अतिथि अमरकांत ने अपने प्रेरणादायी संबोधन में प्रकाशन के साथ-साथ प्रभावी सरकुलेशन पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि वर्तमान युग में डिजिटल जीवन पर बढ़ती निर्भरता के बीच ‘झारखंड ज्ञान ज्योति’ जैसी साहित्यिक पत्रिका का प्रकाशन गर्व की बात है और यह सांस्कृतिक मूल्यों एवं संस्कारों के संरक्षण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। उन्होंने पत्रिका के उज्ज्वल भविष्य की कामना भी की।

कार्यक्रम का संचालन एवं संयोजन डॉ. कविता विकास ने कुशलतापूर्वक किया, जबकि अंत में डॉ. अभिषेक वैभव ने धन्यवाद ज्ञापन प्रस्तुत करते हुए सभी अतिथियों, साहित्यकारों एवं उपस्थित साहित्य प्रेमियों के प्रति आभार व्यक्त किया। यह आयोजन साहित्य प्रेमियों के लिए यादगार सिद्ध हुआ और ‘झारखंड ज्ञान ज्योति’ के माध्यम से क्षेत्रीय साहित्य को नई दिशा मिलने की आशा व्यक्त की गई।

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Digital Head,Live-7, Committed to impactful journalism, Shashi Bhushan Kumar continues to bring meaningful narratives to the public with diligence and passion. Active Journalist since 2012.
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