नयी दिल्ली, 11 दिसंबर (लाइव 7) वरिष्ठ पत्रकार, लेखक और इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केंद्र (आईजीएनसीए) के अध्यक्ष बहादुर राय ने बुधवार को कहा कि लोगों तक समाचार पहुंचाने की तकनीक कितनी ही बदल जाए पर प्रकाशित अखबारों का फिलहाल कोई मुकाबला नहीं है।
श्री राय ने समाचारों की दुनिया में प्रौद्योगिकी के असर पर कहा, “आज जिस किसी के हाथ में मोबाइल है वह खबर लेने-देने का काम कर रहा है और एक तरह से पत्रकार हो गया है, लेकिन आज भी अखबार, पतला हो या मोटा, उसे पढ़ने का जो मजा है वह टीवी या मोबाइल के समाचार पढ़ने और देखने से नहीं मिलता।”
श्री राय यहां रवींद्र भवन परिसर में साहित्य कदामी के पुस्तक मेला ‘पुस्तकायन’ में पत्रकार अमलेश राजू की पुस्तक ‘पत्रकारिता के व्यावहारिक गुर’ के विमोचन कार्यक्रम में अध्यक्षीय वक्तव्य दे रहे थे। कार्यक्रम को माखनलाल चतुर्वेदी पत्रकारिता विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति केजी सुरेश और पुस्तक के प्रकाशक संधीस पब्लिकेशन के प्रमुख हरिकृष्ण यादव ने भी संबोधित किया। श्री राजू दैनिक जनसत्ता में कार्यरत है और उन्हें श्री राय के साथ काम करने का भी अवसर मिल चुका है।
श्री राय ने विश्वास जताया कि श्री राजू की यह पुस्तक उनके अनुभव और पत्र-पत्रिकाओं की पत्रकारिता की उदात्त परंपराओं और मानकों के प्रति उनके गहरे लगाव की एक उत्पत्ति है और यह प्रिंट मीडिया , मोबाइल पत्रकारिता और और पत्रकारिता में रुचि रखने वाले हर किसी के लिए उपयोगी हो सकती है।
श्री सुरेश ने कहा कि यह पुस्तक पत्रकारिता की पढ़ाई करने वालों के सामने सैद्धांतिक पाठ्यक्रम और व्यावहारिक पत्रकारिता के बीच की खाई के बीच सेतु प्रदान करने का प्रयास है। मंच पर वरिष्ठ पत्रकार मनोज मिश्र भी उपस्थित थे। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में पत्रकारिता और साहित्य जगत के लोग उपस्थित थे।
, उप्रेेती
लाइव 7
खबरों के लिए अखबारों का आज भी कोई मुकाबला नहीं: बहादुर राय
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