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गुमला: झारखण्ड राज्य एक कृषि प्रधान देश है। सरकार किसान को अधिक लाभ के लिए कई योजना भी चलाई है। वही दूसरी ओर योजना धरातल पर नही रहने से किसान को सही लाभ नही मिल रहा है। किसान को खेती करने में काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है।किसान ने सरकार से मदद की गुहार लगाई है।मामला गुमला जिला जे शदर प्रखण्ड मुख्याल से सटे लगभग 3 किमी की दूरी पर बसा यहाँ गांव के किसान खेती को लेकर परेशान है। वही फसिया पंचायत के तर्री गांव के किसान बारिश नहीं होने से परेशान है।।सुखाड़ की स्थिति उत्पन्न हो गई है। समय से बारिश नहीं होने से किसानों में मायूसी छा गई है। धान के बीड़ा सूख गए हैं जिससे किसान को चिंता सता रही है। वही थोड़ी बारिश हुई है। कुछ जगहों पर रोपनी का कार्य शुरू किया है। लेकिन पर्याप्त पानी नहीं होने से रोपनी करने में काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है । किसानों का कहना है कि साल में मात्र एक ही खेती होती है।।धान की रोपनी नहीं होने से किसानों को साल भर के खर्चा की चिंता अब सता रही है। किसान की माने तो किसान ने बताया कि राज्य सरकार द्वारा किसानों को मुख्यमंत्री फसल योजना के तहत मिलने वाली मदद बंद हो।। जाने से नाराज किसान जिले को सुखाड़ क्षेत्र घोषित कर राहत कार्य व मुआवजा देने की मांग कर रहे हैं।
वहीं कुछ किसानों का कहना है कि न्यू धरती धान नामक खाद बीज की दुकान से बीज लिया है , जो बीज बोने से सही से बीड़ा नही उगा है। किसानों का कहना है कि घटिया किस्म का बीज दिया है। जिससे बिड़ा ठीक से नही हुआ काफी नुकसान होने की बात कही और किसान ने प्रसासन से मदद की बात कही हैं ।इधर एस टी मोर्चा के देवेन्द्र लाल किसानों के बीच पहुचे किसानों से बात किए जिसके बाद हर सम्भव सहायता का भरोसा दिया। साथ ही कहा कि प्रसासन इस समस्या को ठीक करे जिससे किसानों को लाभ मिले।बहरहाल यह क्षेत्र कृषि प्रधान क्षेत्र है। और सरकार को जरूरत है। किसान को सशक्त ओर मजबूर बनाने की जिससे किसान बेहतर लाभ और सरकार की योजनाओं से लाभान्वित हो सके ।। बारिश नहीं होने से रोपनी प्रभावित है। इंद्र भगवान से किसान बरसने की गुहार लगा रहे हैं ।वही दूसरी ओर सरकार और जिला प्रशासन अब तक किसानों के लिए किसी प्रकार का राहत कार्य शुरू नहीं किया है।जिससे किसानों में मायूसी छाई है।
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