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रांची : यूक्रेन में फंसे रांची के स्टूडेंट्स के परिजनों का हौसला बढ़ाने के लिए डीसी छवि रंजन के निर्देश पर पदाधिकारी उनसे मुलाकात कर रहे हैं। इसके तहत बुधवार को जिला जनसंपर्क पदाधिकारी डॉक्टर प्रभात शंकर हवाई नगर की रहने वाली ज्योति कुमारी और नामकुम की रहने वाली अंबिका साहू के परिजनों से मुलाकात की। जिला जनसंपर्क पदाधिकारी के साथ सहायक जनसंपर्क पदाधिकारी रियाज आलम ने दोनों स्टूडेंट्स के परिजनों से मुलाकात की। इनका हौसला बढ़ाया और कहा कि जिला प्रशासन हर संभव मदद को तैयार है। मालूम हो कि रांची के करीब 17 स्टूडेंट्स यूक्रेन से वापस लौट आए हैं।
एक्स आर्मी मैन हैं अंबिका के पिता
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नामकुम में रहने वाली अंबिका के पिता राम किशोर साहू एक्स आर्मी हैं। उन्होंने बताया कि उनकी बेटी युद्ध के हालात से भलीभांति वाकिफ है। वह जब 21 दिनों की थी तब उसके पिता कारगिल युद्ध के दौरान सीमा पर दुश्मनों से दो-दो हाथ कर रहे थे। अभी अंबिका करीब 20 छात्रों को लीड कर रही है। पल-पल की जानकारी वह अंबिका से प्राप्त कर रहे हैं। अंबिका के पिता ने बताया कि युद्ध के दौरान कैसे हालात होते हैं और किस तरह की बंदिशें होती है, इससे वह लगातार बेटी को अवगत करा रहे हैं। उन्होंने कहा कि भगवान से लगातार प्रार्थना कर रहे हैं कि सभी भारतीय बच्चे सकुशल अपने अपने घर लौट आए।
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दिल्ली सकुशल पहुंची ज्योति
हवाई नगर में रहने वाली ज्योति कुमारी सकुशल दिल्ली पहुंच गई है। ज्योति के पिता राम शंकर प्रसाद ने बताया कि युद्ध के हालात बनने के बाद ही उन्होंने तुरंत अपनी बेटी से संपर्क किया और देश लौटने को कहा। ज्योति दिल्ली पहुंच चुकी है और फिलहाल अपनी बहन के यहां रह रही है।
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